गोण्डा। तहसील मुख्यालयों पर मुंसिफ न्यायालय व ग्राम न्यायालय स्थापना के विरोध में चल रहा है अधिवक्ताओं का आन्दोलन शुक्रवार को बारहवें दिन भी जारी रहा।
जिला बार व सिविल बार एसोसिएशन के संयुक्त तत्वावधान में अधिवक्ताओं ने अध्यक्ष दीनानाथ त्रिपाठी, वीरेंद्र त्रिपाठी एवं महामंत्री मनोज कुमार सिंह, प्रदीप कुमार पाण्डेय के नेतृत्व मे बाहरवें दिन भी पूर्व रूपेण न्यायिक कार्य से विरत रहकर विरोध प्रदर्शन किया।
अधिवक्ताओ ने आज एक आम सभा की बैठक बार एसोसिएशन के सभागार की जिसमे वरिष्ठ अधिवक्ताओं ने अपने सम्बोधन में अपने राय विचार रखे, लेखन समिति ने अभी तक के मुंसिफ न्यायालय व ग्राम न्यायालय के वावत पूर्व मे किये गए पत्राचार, दिये गये ज्ञापन आदि पर गहन चर्चा हुई साथ निगरानी समिति ने अपने राय रखे पूर्व आन्दोलन मे हुए पत्राचार और एजे से मुलाकात व उनके अश्वासन और शासन व प्रशासन से मुलाकात के बाद लिखित प्राप्त प्रपत्रो पर दौरान बैठक चर्चा हुई तदनुरूप अगली रणनीत हेतु नई कमिटी का गठन करते हुए धरना-प्रदर्शन अब उग्र रूप धारण करते हुए रोड तक पर ले जाने की सहमती बनी है, अगर जरूरत पडेगी रोड से लेकर ट्रेन तक जाम करने की रणनीत बनी है, हम कभी भी किसी भी तरह से तीनों तहसीलों में मुंसिफ न्यायालय व ग्राम न्यायालय नही जाने देगें इसके लिए जो भी आवश्यक होगा वह सब हम करेंगे सभा का संचालन मनोज कुमार सिंह ने किया और आभार प्रदर्शन वरिष्ठ उपाध्यक्ष अरविन्द कुमार पाण्डेय ने किया।
इस बैठक पर मौजूद वरिष्ठ अधिवक्ता गोकरननाथ पाण्डेय, रामकृपाल शुक्ल, माधव राज मिश्र, सुरेश प्रसाद पाठक, इन्द्रजीत सिंह, विन्देश्वरी प्रसाद दूबे, राजेश मिश्र, राम बुझारत मिश्रा, उपेन्द्र मिश्र, जमील खां,अनिल सिंह, अशोक तिवारी, विजय प्रकाश त्रिपाठी, कौशल किशोर पाण्डेय, रमेश कुमार दूबे, अनुपम शुक्ल, इन्द्रमणि शुक्ल, राजकुमार चतुर्वेदी, गिरवर चतुर्वेदी. रजनीश पाण्डेय, रामू प्रसाद, सन्तोष कुमार ओझा, विश्वनाथ सिंह, भगौती प्रसाद पाण्डेय, भगौती प्रसाद मिश्र, प्रभात शुक्ल, उत्कर्ष त्रिपाठी, राहूल, राजीव कुमार, अजय तिवारी, राजीव कुमार, जगन्नाथ शुक्ल, अजयविक्रम सिंह, रविप्रकाश पाण्डेय, गौरीशंकर चतुर्वेदी, रीतेश यादव, अतुल कुमार श्रीवास्तव, प्रमोद नन्दन श्रीवास्तव, इक़बाल बहादुर श्रीवास्तव, जयदिनेश शुक्ल, राजेन्द्र प्रसाद दूबे, अविनाश पाण्डेय, उत्कर्ष त्रिपाठी, परशुराम मौर्य, नन्दकुमार शुक्ल, शिववरदानपाण्डेय, दुर्गेश विश्वकर्मा सहित आदि अधिवक्ता मौजूद रहे।