12 घंटे के अन्दर आरोपियों की गिरफतारी ने किया आग में पानी डालने का काम
गोण्डा। बिना किसी बात के अल्पसंख्यक समुदाय द्वारा बहुसंख्यक समुदाय के एक युवक को दिन दहाडे जला कर मारने के प्रयास से भडके आकं्रोश को पुलिस की सक्रियता ने शांत कर दिया।
घटना जनपद के कोतवाली देहात क्षेत्रार्न्तगत ग्राम चिश्तीपुर की है। मुस्लिम बहुल इस क्षेत्र में मंगलवार की शाम मुगलजोत निवासी विष्णू कुमार को दुसरे समुदाय के कुछ लोगों ने पेट्ोल डाल कर जिन्दा जला दिया। लगभग 80 प्रतिशत जल चुके विष्णू कुमार को जिला चिक्तिसालय द्वारा लखनउ को रिफर कर दिया गया। घटना आग की तरह पुरे जनपद में फैल गयी और पीडित समुदाय मेंं आक्रोश फैलने लगा। मामला दो समुदायों से जुडा होने के चलते तुरंत हरकत में आयी पुलिस ने टीमों को गठन कर छापेमारी आरम्भ कर दी, घटना के 12 घंटे होने के पहले ही पुलिस ने अपनी पुरी सक्रियता का प्रयोग करते हुए घटना के चारों आरोपियों इमरान पुत्र शमशाद निवासी खोरहंसा, मास्टर उर्फ़ रमजान पुत्र खलील, निजामुद्दीन पुत्र अब्दुल रउफ, तुफैल पुत्र लिल्लाही निवासी चिश्तीपुर को धारा 302, 504, 307, के अंतर्गत गिरफतार भी कर लिया साथ ही यू पी 32 एच एन 7406 नम्बर के टैंकर जिसके पेट्रोल का प्रयोग युवक को जलाने में किया गया था उसे भी अपनी हिरासत में ले लिया। हालाकिं पुलिस की इस तत्परता ने जनपद के बहुसंख्यक समुदाय में भडक रहे आका्रेश को कुछ हद तक दबाने का प्रयास किया है परन्तु ये आक्रोश कबतक दबा रहेगा इस बारे में कुछ कहना मुश्किल ही होगा !
बुरी तरह घायल विष्णू कुमार के भाइ्र महेश ने घटना की जानकारी देते हुए बताया कि वह अपने भाई के साथ अपने शराबी पिता को ढुढने जमुनिया बाग आया हुआ था, वहा उसके पिता शराब के नशे में सडक पर मिले इस पर विष्णू और पिता जी में कुछ कहासुनी हुयी कहासुनी में पिता ने भाइ्र का मारा भी जिससे उसके नाक से खून आने लगा, हम लोग खून को वही लगे नल पर धो रहे थे कि वहां अल्पसंख्यक समुदाय के दो लोग आये और पास खडे पेट्ोल के टैकंर से पेट्ोल निकाल मेरे भाई पर उलेड दिया और माचिस से आग लगा दी। जिसे आस पास के लोग किसी तरह लेकर जिला अस्पताल पहुचें जहां डाक्टर ने 80 प्रतिशत जला होने की बात बताते हुए लखनउ रिफर कर दिया।
फिलहाल पुलिस पुरे मामले पर गम्भीर निगाह रखते हुए घटना स्थल पर भारी संख्या में तैनात है लेकिन अब देखना यह है कि अपने आप में पूरी तरह अजीबोगरीब इस मामले पर वह माहौल को शांत रखने में कितना कामयाब हो पाती है जो जिले की पुलिस के लिए एक बडी चुनौती है।