सरकार के सुप्रीमों ने जारी किया बयान
अफगानिस्तान। अमेरिकी सेना की वापसी के साथ तालिबान के कब्ज़े के बाद से ही जहाँ अफगानी महिलाओं पर क़ानून का शिकंजा सख्त होता जा रहा है वहीं सरकार के सुप्रीम नेता द्वारा जारी किये गए नये सन्देश ने घुटघूटकर जी रही महिलाओं की मुसीबतें और बढ़ा दी हैं। सुप्रीम नेता ने अपने ताज़ा बयान में कहा है की हम जल्द ही देश में शरिया क़ानून लागू कर देंगे।
महिलाओं की शिक्षा पर पाबन्दी, ऐडलत्री करने वाली महिलाओं को सरेआम पत्थर मार की जान लेने जैसी सजायें तो तालिबान ने देश पर अपना शासन स्थापित होते ही देना शुरू कर दिया था जिससे वहां के नागरिकों विशेषकर महिलाओं की जिंदगी दुभर कर दी थी
वहीं माना जा रहा है सुप्रीम नेता मुल्ला हिब्तूल्लाह अखुनजादा के उस बयान ने महिलाओं को सकते में ला दिया है जिसमे जल्द शरिया लागू करने की बात की गई है।
मुल्ला हिब्तूल्लाह अखुनजादा ने पिछले दिनों जारी अपने ऑडियो सन्देश में कहा है की अंतर्राष्ट्रीय समुदाय द्वारा समर्थित महिलाओं के अधिकार तालिबान के इस्लामी शरिया क़ानून के विरोधाभासी हैं, क्या महिलाये वे अधिकार चाहती हैं जिनके बारे में पश्चिमी लोग बातें करते हैं? वे शरिया और हमारी राय के खिलाफ है, हमने पश्चिमी लोकतंत्र को उखाड़ कर फेंक दिया है। अब हम इस धरती पर शरिया लाएंगे।
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