आईटी कम्पनियों में लड़कियों को प्रवेश दिलाने की वर्षा सिंह ने की अभिनव पहल
पंडित दीन दयाल के एकात्म मानववाद से मिली प्रेरणा
आगामी पांच वर्षों में विकसित क्षेत्र के मानचित्र में गोण्डा को स्थापित करने का लिया संकल्प
गोण्डा। भाजपा की युवा नेत्री व लाल बहादुर शास्त्री महाविद्यालय में कार्यकारिणी की उपाध्यक्ष वर्षा सिंह ने अमेरिका में अपने लम्बे प्रवास के अनुभव का लाभ जनपद की लड़कियों व युवाओं को दिलाने की अभिनव पहल शुरू की है। सुश्री सिंह छात्राओं व बालिकाओं को आईटी कंपनियों में घर बैठे रोजगार करने की सुविधा दिला रहीं हैं।
भाजपा की युवा नेत्री व प्रबंध समिति की उपाध्यक्ष वर्षा सिंह ने बताया कि पिता पूर्व सांसद सत्यदेव सिंह एवं माता के एक साथ आकस्मिक निधन के बाद जब मुझे अमेरिका से लौटना पड़ा तो यहां हमें एलबीएस (पीजी) कॉलेज का प्रबंधन का दायित्व संभालते वक्त युवाओं की विषम परिस्थितियों का अहसास हुआ। जनपद में शिक्षा पा रहे युवाओं विशेषकर छात्राओं व शिक्षित लड़कियों – महिलाओं के पास रोजगार के अवसरों की नितांत कमी है । बाहर जाकर अकेले रोजगार करने की शाहस भी नहीं है। वर्षा कहती हैं कि उन्होंने स्वयं नोएडा में रहकर पढ़ाई की थी इसलिए हमें गोंडा और नोएडा के बीच सांस्कृतिक अंतर की जानकारी थी। यहां अमूमन माता-पिता बिना किसी अभिभावक की देखरेख के अतिरिक्त लड़कियों को बड़े शहरों में अकेले भेजने के पक्ष में नहीं होते हैं ।
वर्षा आगे बताती हैं कि पंडित दीन दयाल उपाध्याय द्वारा प्रतिपादित “एकात्म मानववाद” के अनुसार अर्थव्यवस्था को भारतीय परिस्थितियों के लिए उपयुक्त उत्पादन के विभिन्न कारकों की उपलब्धता और प्रकृति पर ध्यान देना चाहिए।
वर्षा कहती हैं, “दुनिया भर में आईटी कंपनियों ने कोविड के दौरान घर से काम करने की अनुमति दी थी। युवाओं को रोजगार दिलाने के सन्दर्भ में मैंने सोचा कि क्या गोण्डा की छात्राएं-लड़कियां भी किसी बड़े संस्थान से जुड़कर अपने घर में रहते हुए काम कर सकती हैं? मैंने अपनी सोंच को. साकार रूप देने के लिए इसे # IT42T का नाम दिया। सरल शब्दों में जिसका अर्थ है दूसरे दर्जे के शहरों के लिए “IT”की उपयोगिता। अपने लक्ष्य को पाने के लिए हमने कुछ कंपनियों से पत्राचार किया। जिस पर एक कंपनी ने हमारे मिशन का समर्थन कर शास्त्री महाविद्यालय की शिवांगी त्रिपाठी व दीपांशी नामक दो लड़कियों को काम पर रखा। जहां दोनों लड़कियां सफलता पूर्वक रोजगार कर रहीं हैं।
अपने मिशन की सफलता पर खुशी से लबरेज वर्षा सिंह IT42T अन्य लाभ को गिनाते हुए बताती हैं – पहला, चूंकि कर्मचारियों को बड़े शहरों में प्रवास करने की आवश्यकता नहीं होती है, इसलिए मेट्रो पर दबाव कम हो जाता है। दूसरा- छोटे शहरों में रहने की लागत कम है। सबसे महत्वपूर्ण लाभ यह है कि इस तरह के विकेंद्रीकृत रोजगार से स्थानीय बाजार में बाहर का पैसा आता है। इसके अतिरिक्त 100 नौकरियों में प्रत्येक दूसरे दर्जे के शहर में 2.5 करोड़ वार्षिक से अधिक अतिरिक्त राजस्व लाने की क्षमता है।
भविष्य की रूपरेखा स्पष्ट करते हुए भाजपा नेत्री वर्षा सिंह कहती हैं, ”यह IT42T के लिए सिर्फ एक शुरुआत है। मेरा संकल्प है कि आगामी पांच वर्षों के अन्तराल में देश के विकसित क्षेत्र के मानचित्र पर विकासशील गोण्डा को स्थापित करूंगी। मेरा प्रयास है कि प्रत्येक द्वितीय श्रेणी के शहर के लिए 100 ऐसी आईटी नौकरियों के लक्ष्य की दिशा में एक ठोस प्रयास करने के लिए कौशल भारत कार्यक्रम से संपर्क करने की योजना बना रही हूं”।