लखनऊ ! नारी का सम्मान सदा होना चाहिए। संस्कृत में एक श्लोक है- ‘यस्य पूज्यंते नार्यस्तु तत्र रमन्ते देवता: (भावार्थ- जहां नारी की पूजा होती है, वहां देवता निवास करते हैं।) को चरितार्थ करते हुए अखिल भारतीय ब्रह्म समाज द्वारा समाज के उन महिलाओं को सम्मानित किया गया, जिन्होंने अपनी मेहनत और कर्मठता के बल पर अपना स्थान बनाया अथवा अपने परिवार के लोगों को ऐसे संबल प्रदान किया कि आज वह समाज में प्रतिष्ठित व्यक्ति बन कर ब्राह्मण समाज का गौरव स्थापित कर रहे हैं |
इसी क्रम में लखनऊ तथा अन्य कई जनपदों की प्रतिष्ठित महिला मुख्यतः विजयलक्ष्मी शुक्ल, 85 वर्ष, सरोजनी शुक्ल, 80 वर्ष, डा. सुषमा मिश्र 75, डा. कीर्ति अवस्थी50, सहित विभिन्न जनपदों की 400 महिलाओं को महिला सम्मान से सम्मानित किया गया |
कार्यक्रम में मुख्य अतिथि कैबिनेट मंत्री रीता बहुगुणा जोशी लखनऊ की महापौर श्रीमती संयुक्ता भाटिया सांसद अशोक बाजपाई सहित कई गणमान्य अतिथियों ने कार्यक्रम में उपस्थित हुए| अखिल भारतीय ब्रह्म समाज के अध्यक्ष सी. पी. अवस्थी ने उपस्थित सभी माताओं और बहनों को बच्चों में संस्कार और अपनी संस्कृति से जोड़ने का दायित्व समझने को कहा तथा अखिल भारतीय ब्रह्म समाज द्वारा आयोजित होने वाले जनेऊ संस्कार में सभी लोग अपने बच्चों के संस्कारों के क्रम में जनेऊ का कार्य संपन्न कराएं ऐसा आग्रह भी किया उन्होंने कहा कि भारतीय समाज में बड़े छोटे का सम्मान करना खासतौर से ब्राह्मण समाज में संस्कारों के महत्व को समझें और आने वाली पीढ़ियों को समझाएं इसके प्रति जागरूकता सिर्फ और सिर्फ माताएं और बहनें ही पहला सकती हैं अतः उन्हें यह जिम्मेदारी लेते हुए इस कार्य को आगे बढ़ाना होगा
फिल्म हाथी ब्रह्म समाज के महामंत्री देवेंद्र शुक्ला ने उपस्थित सभी माताओं और बहनों को भविष्य में ऊर्जावान रहते हुए तथा अपने और अपने परिवार का ध्यान रखते हुए सामाजिक जिम्मेदारियों का निर्वाह सुचिता पूर्ण करने को कहा तथा उन्होंने कहा इस वर्ष शुरू होने वाले कार्यक्रमों में सबसे प्रथम कार्यक्रम हमारे समाज की नारी का सम्मान कर के ही शुरू हो रहा है आशा करते हैं कि प्रांगण में उपस्थित पुरुष इस बात से शिक्षा लेते हुए अपने घर और अपने समाज में महिलाओं का सम्मान करेंगे और उन्हें सामाजिक दायित्व में आगे बढ़ने हेतु प्रोत्साहित करेंगे
अखिल भारतीय ब्रह्म समाज द्वारा आयोजित महिला सम्मान समारोह अपने आप में एक नए तरीके का प्रयास है जो समाज के हर क्षेत्र में जो कि घर से शुरू होकर समाज के सर्वोच्च पायदान पर ले जाता है महिलाओं की भागीदारी सुनिश्चित करने और उन्हें उनके कार्य हेतु पुरस्कृत करने की एक अनोखी पहल है